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Sunday, March 7, 2021

Haridwar Kumbh 2021: हरिद्वार कुंभ का पहला शाही स्नान महाशिवरात्रि को होगा, बाकी 3 की भी तारीख जानें।

नई दिल्ली: आस्था का मेला कुंभ इस बार उत्तराखंड की देव नगर हरिद्वार में आयोजित होने जा रहा है। आपको बता दें कि कुंभ का शाब्दिक अर्थ है कलश जिसे समुद्र मंथन के दौरान निकले अमृत कलश के तौर देखा जाता है। कुंभ मेले (Kumbh Mela) का आयोजन 12 साल में हर 3 साल के अंतराल पर प्रयागराज, हरिद्वार, नासिक और उज्जैन में होता है। हरिद्वार में कुंभ गंगा के तट पर, उज्जैन में शिप्रा नदी के तट पर, नासिक में गोदावरी नदी के तट पर और प्रयागराज में गंगा, यमुना और सरस्वती के संगम पर इसका आयोजन होता है।


हरिद्वार में कुंभ मेले का आयोजन।
पुराणों में वर्णित एक श्लोक है:
“कुम्भ राशिगते जीवे यद्द्विनेशन मशगे रवौ।
 हरिद्वारे कृतसंसाननं पुनरावृत्तिवर्जनम्“।।
अर्थात जब सूर्य मेष राशि (Aries) में और बृहस्पति कुंभ (Aquarius) राशि में प्रवेश करते हैं तब हरिद्वार में कुंभ मेले का आयोजन होता है। ऐसी मान्यता है कि इस तरह की ज्योतिषीय स्थिति में गंगा में स्नान करने पर सभी तरह के पाप से मुक्ति मिलती है और व्यक्ति जीवन-मरण के चक्र से भी छूट जाता है और उसे मोक्ष की प्राप्ति होती है।

वैसे तो हर बार कुंभ मेला 4 महीने का होता था लेकिन इस बार कोरोना महामारी के मद्देनजर हरिद्वारा में आयोजित होने वाला कुंभ मेला केवल 28 दिन का होगा। कुंभ मेले का आयोजन 1 से 28 अप्रैल के बीच होगा और इस दौरान राज्य सरकार के साथ ही केंद्र सरकार ने भी कई जरूरी गाइडलाइन्स जारी की हैं जिनका पालन सभी श्रद्धालुओं को करना होगा। हरिद्वार कुंभ मेले (Haridwar Kumbh) में इस बार 4 शाही स्नान होंगे। देशभर से श्रद्धालुओं और अखाड़ों का हरिद्वार पहुंचना शुरू हो गया है। कुंभ के दौरान होने वाले शाही स्नान आकर्षण का केंद्र होते हैं।

हरिद्वार कुंभ में कब-कब होंगे शाही स्नान।

1. पहला शाही स्नान- 11 मार्च महाशिवरात्रि के दिन।
वैसे तो हरिद्वार कुंभ मेले की औपचारिक शुरुआत 1 अप्रैल से होगी लेकिन पहला शाही स्नान 11 मार्च  2021 गुरुवार को महाशिवरात्रि (Mahashivratri) के मौके पर होगा। धरती पर गंगा का अवतरण भगवान शिव की वजह से ही हुआ था और गंगा, शिव की जटाओं में समाहित हैं। इसलिए महाशिवरात्रि के दिन पवित्र गंगा में स्नान करने का धार्मिक और आध्यात्मिक महत्व काफी अधिक है।

2. दूसरा शाही स्नान- 12 अप्रैल सोमवती अमावस्या के दिन।
हरिद्वार कुंभ का दूसरा शाही स्नान पहले स्नान के 1 महीने बाद 12 अप्रैल सोमवार को सोमवती अमावस्या (Somvati Amavasya) के दिन होगा। अमावस्या के दिन वैसे भी पवित्र नदियों में स्नान और फिर दान का विशेष महत्व माना जाता है और सोमवार को पड़ने वाली अमावस्या को सोमवती अमावस्या कहा जाता है।

3. तीसरा शाही स्नान- 14 अप्रैल मेष संक्रांति और बैसाखी।
हरिद्वार कुंभ का तीसरा शाही स्नान 14 अप्रैल बुधवार को मेष संक्रांति (Mesh Sankranti) के मौक पर होगा। इस दिन बैसाखी भी है। ऐसी मान्यता है कि मेष संक्रांति के दिन गंगा का जल अमृत बन जाता है और ज्योतिषीय मान्यताओं के मुताबिक इस दिन गंगा में स्नान करने से व्यक्ति के जीवन के सारे पाप धुल जाते हैं।

4. चौथा शाही स्नान- 27 अप्रैल चैत्र पूर्णिमा के दिन।
हरिद्वार कुंभ का चौथा और आखिरी शाही स्नान चैत्र के महीने में पूर्णिमा (Chaitra Purnima) के दिन होगा। इसे शाही स्नान के सबसे अहम दिनों में से एक माना जाता है और इसलिए इस दिन को अमृत योग के नाम से भी जाना जाता है।

Friday, March 5, 2021

महाशिवरात्रि के नौ दिन का उत्सव, 9 रूपों में होगा बाबा का श्रृंगार।

विश्व प्रसिद्ध ज्योतिर्लिंग बाबा महाकाल मंदिर में महाशिवरात्रि पर्व की शुरुआत शिवरात्रि के 9 दिन पूर्व से ही शुरू हो गई है। इसे शिवनवरात्रि के रूप में बड़े उत्साह के साथ मनाया जाता है। शिवनवरात्रि के पहले दिन माता पार्वती व बाबा का चंदन, कटरा, मेखला, दुपट्टा, मुकुट, मुंड-माल, छत्र आदि से विशेष और अद्भुत श्रृंगार किया जाता है। विश्व भर के बारह ज्योतिर्लिंगों में से उज्जैन ही एकमात्र ऐसा स्थान है जहां शिवरात्रि के पहले शिवनवरात्रि मनाए जाने की परम्परा है। इसमें लगातार 9 दिनों तक भगवान महाकाल का अलग-अलग शृंगार किया जाता है।

शिवनवरात्रि में नौ दिन राजा के विविध रूप व पूजन।
नवरात्रि में पहले दिन कोटितीर्थ कुण्ड स्थित कोटेश्वर महादेव पर शिवपंचमी का पूजन किया जाता है। इस वर्ष बाबा का अभिषेक सुबह 08 बजे से 09 बजे तक किया गया। प्रति वर्ष के अनुसार इस वर्ष भी 11 ब्राह्मणों एवं दो सहायक पुजारियों को एक-एक सोला तथा वरूणी प्रदान की गई। 

कोटेश्वर महादेव के पूजन आरती के पश्चात महाकालेश्वर राजा का पूजन अभिषेक एवं 11 ब्राह्मणों द्वारा एकादश एकादशिनी रूद्राभिषेक किया जाता है। तत्पश्चात भोग आरती की जाती है। देर शाम भगवान महाकाल का संध्या पूजन कर चंदन व भांग का श्रृंगार, कटरा, मेखला, दुपट्टा, मुकुट, मुण्ड-माल, छत्र आदि से बाबा का अद्भुत रूप श्रृंगार किया जाता है। वहीं बाबा के आंगन में हरिकीर्तन भी किए जाते हैं जिसका भरपूर आनंद श्रद्धलुओं उठाते हैं। यह सिलसिला 10 दिन तक लागातर चलेगा। हरिकीर्तन इंदौर के कानडकर परिवार द्वारा 1990 से लागातर शिवनवरात्रि में देर शाम किया जाता रहा है।

थाईलैंड: महिला की समुद्र किनारे टहलने के दौरान चमकी किस्मत, हाथ लगी करोड़ों की चीज।

थाईलैंड (Thailand): की एक महिला को समुद्र तट के पास से ऐसी अनोखी चीज मिली है जिससे उसकी किस्मत रातों रात बदल गई है। जी हां, ये घटना है नाखोन सी थम्मारत के तट (Coast Of Nakhon Si Thammarat) के पास की जहां 49 साल की सिरिपॉर्न नियामरिन (Siriporn Niamrin) टहलने गई थी और जब वहां से लौटी तो अपने साथ एक बेशकीमती चीज लेकर लौटी जिसकी कीमत को लेकर पहले वो भी अंजान थी।


इस अनोखी चीज से चमकी किस्मत।
खबरों के अनुसार, सिरिपॉर्न नियामरिन एक समुद्र तट पर टहलने गई थी जब उन्हें रेत में एक अजीब सी गांठ दिखाई दी। फिर उस महिला ने कथित तौर पर देखा कि गांठ में मछली जैसी गंध आ रही थी और यह सोचकर उसे अपने साथ वापस घर ले आई कि कई ये किसी चीज के काम ना आ जाए। द सन की एक रिपोर्ट के मुताबिक, यह घटना 23 फरवरी की है। आगे लिखा है कि जब सिरिपोर्न घर वापस आई तो उन्होंने अपने पड़ोसियों से उस अजीब सी वस्तु को पहचानने में मदद मांगी। फिर उन्हें बताया गया कि असल में वह गांठ ‘व्हेल मछली की उल्टी’ थी, जिसे ‘एम्बरग्रीस’ भी कहा जाता है। ये जानकर तो सिरिपॉर्न नियामरिन और आसपास मौजूद लोग हक्के-बक्के रह गए।

तो क्या निकली ये चीज?
एक न्यूज रिपोर्ट के अनुसार, इस 12 इंच चौड़ी और 24 इंच लंबी गांठ वाले ‘एम्बरग्रीस’ की अनुमानित कीमत 1.86 लाख पाउंड यानी लगभग 1.8 करोड़ रुपये है। इसका उत्पादन शुक्राणु व्हेल की प्रणाली में किया जाता है और इसका इस्तेमाल परफ्यूम बनाने में होता है क्योंकि यह एक सुधारात्मक के रूप में काम करता है, जिससे खुशबू लंबे समय तक सहन करने में मदद मिलती है। खबरों के अनुसार, उस महिला ने ‘एम्बरग्रीस’ की प्रमाणिकता की जांच करने के लिए इसे लौ में रखा था जो पिघल गया लेकिन फिर इसके हिस्से ठंडे होने के बाद ये फिर से मजबूत हो गया। सिरिपॉर्न नियामरिन कथित तौर पर फिलहाल विशेषज्ञों के घर पहुंचने और ‘एम्बरग्रीस’ की प्रमाणिकता की जांच करने का इंतजार कर रही है। एक रिपोर्ट के अनुसार, उन्होंने कहा- 'अगर मेरे पास सच में ‘एम्बरग्रीस’ है, तो मैं इसे बेचने के लिए अच्छे खरीददार का इंतजार करूंगी। मैं इतने बड़े टुकड़े को पाकर बहुत खुशकिस्मत हूं और मुझे उम्मीद है कि यह मुझे पैसा दिलाएगा। मैं फिलहाल इसे अपने घर में सुरक्षित रख रही हूं और मैंने स्थानीय परिषद से इसकी जांच करने के लिए कहा है।'

Thursday, March 4, 2021

Exclusive: दक्षिण अफ्रीका के चर्चित गुप्ता ब्रदर्स गुपचुप तरीके से खरीद रहे जेट एयरवेज? खुलासा

नई दिल्ली/मुंबई: जेट एयरवेज को खरीदने की बोली लगाने वाले मुरारी लाल जालान के पीछे साउथ अफ्रीका के गुप्ता ब्रदर्स हैं? वो गुप्ता ब्रदर्स जिनके खिलाफ साउथ अफ्रीका में भ्रष्टाचार, घूसखोरी के कई मामले चल रहे हैं और अमेरिका में उनके साथ किसी तरह की बिजनेस डील पर पाबंदी है।

मुरारी लाल जालान के भाई विशाल जालान की बेटी शिवांगी की शादी अतुल गुप्ता के बेटे शशांक सिंघल के साथ 2019 में हुई। Zee News के पास जानकारी है कि जालान और गुप्ता परिवार इस वक्त दुबई में हैं। साउथ अफ्रीका में लगे संगीन आरोपों के बाद गुप्ता ब्रदर्स ने 2018 में देश छोड़ दिया था और उसके बाद वो अलग-अलग जगहों पर ठिकाना तलाशते रहे, लेकिन अभी गुप्ता ब्रदर्स उज्बेकिस्तान के ताशकंद में हैं। मुरारी लाल जालान का परिवार पहले रांची और फिर कोलकाता होते हुए दुबई पहुंचा और अब लंबे समय से वहीं रहकर अलग-अलग देशों में कारोबार करता है।

जालान परिवार की एक कंपनी है एजियोइमेज और गुप्ता ब्रदर्स के बेहद करीबी रिश्तेदार आकाश गर्ग की कंपनी है AGEV इनवेस्टमेंट लिमिटेड। आकाश गर्ग की कंपनी दुबई में बतौर ऑफशोर कंपनी लिस्टेड है। एजियोइमेज और AGEV इनवेस्टमेंट लिमिटेड, ये दोनों कंपनी दुबई से ही अपना बिजनेस चलाती हैं। जनवरी 2018 में आकाश गर्ग ने पहले अपनी कंपनी AGEV इंवेस्टमेंट की तरफ से 50 लाख डॉलर का लोन मुरारी लाल जालान की कंपनी एजियोइमेज को देने का एग्रीमेंट किया। एग्रीमेंट के मुताबिक पूरी रकम का सालाना ब्याज चार फीसदी दिया जाना था। हालांकि अगले महीने ही मुरारी लाल जालान ने दूसरे लोन के रूप में 2 करोड़ दिरहम (करीब 54 लाख डॉलर) आकाश गर्ग की कंपनी को दिया। इसके लिए भी सालाना चार फीसदी ब्याज की शर्त रखी गई। लोन एग्रीमेंट के सभी दस्तावेजों पर आकाश गर्ग और मुरारी लाल जालान दोनों के दस्तखत भी हैं।

Tuesday, March 2, 2021

वकील ने जज साहिबा को आधी रात को किया बर्थडे Wish, 20 दिनों से है जेल में, HC पहुंचा मामला

रतलाम: मध्य प्रदेश के रतलाम का वकील कई दिनों से जेल में बंद है, क्योंकि उसने महिला जज को आधी रात जन्मदिन की बधाई दे दी थी। जज साहिबा ने वकील पर आईटी एक्ट समेत अन्य धाराओं में मामला दर्ज करवा दिया है, जिसके बाद पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर लिया। वकील ज्यूडिशियल मजिस्ट्रेट प्रथम (JMFC) के कोर्ट से लेकर सेशन कोर्ट तक जमानत के लिए पहुंच चुका है, लेकिन कहीं से उसे कोई राहत नहीं मिली पाई है। जमानत का मामला अब मामला हाई कोर्ट पहुंच गया है।

न्यायाधीश के सरकारी मेल पर पोस्ट किया बधाई संदेश।
रतलाम डिस्ट्रिक्ट कोर्ट में पदस्थ महिला जज का जनवरी में जन्मदिन था। वकील विजय ने रात 1 बजकर 11 मिनट पर जज साहिबा के ऑफिशियल मेल पर हैप्पी बर्थडे का मैसेज सेंड कर दिया। वकील ने जज के फेसबुक अकाउंट से उनका एक फोटो डाउनलोड किया और उसे ग्रीटिंग कार्ड के रूप में उनको भेज दिया। वकील विजय द्वारा इस तरीके से बर्थडे विश करना महिला जज को नागवार गुजरा। उन्होंने वकील की  शिकायत रतलाम पुलिस थाने में कर दी।

अधिवक्ता संघ की सदस्यता से बर्खास्त हो चुका है विजय।
रतलाम कोर्ट बार एसोसिएशन अध्यक्ष दशरथ पाटीदार ने बताया कि वकील विजय जूनियर है और प्रैक्टिस कर रहा है। अभी वह पूरी तरह से वकील नहीं बना है। उसे अभी एक और एक्जाम देने के बाद स्टेट बार को सूचना देना होगी। इसके बाद उसे वकालत का लाइसेंस मिल पाएगा। वकीलों की प्रतिष्ठा गिराने वाली हरकतों के कारण अधिवक्ता संघ विजय को काफी समय पहले ही अपनी सदस्यता से बर्खास्त कर चुका है।

पुलिस ने आरोपी वकील कई धाराओं में केस दर्ज किया है।
शिकायत के बाद रतलाम पुलिस ने वकील विजय के खिलाफ आईपीसी की धारा 420, 467, 468, 469 और आईटी एक्ट की धारा 67 व 41 के तहत प्रकरण दर्ज कर 9 फरवरी को उसे गिरफ्तार कर लिया था। तब से वकील जेल में है। ज्यूडिशियल मजिस्ट्रेट प्रथम कोर्ट से जमानत नहीं मिलने पर उसने सेशन कोर्ट में याचिका दायर की थी, लेकिन यहां से भी आरोपी वकील को जमानत नहीं मिल सकी। अब उसने हाई कोर्ट की इंदौर बेंच में याचिका दायर की है। जमानत याचिका पर सुनवाई 3 मार्च को होगी।

Monday, March 1, 2021

Kumbh Logo: 5 डिजाइन में से एक को किया गया सिलेक्ट, जाने कैसे होगा कुंभ का लोगो।

हरिद्वार:  कोरोना महामारी के बीच उत्तराखंड में कुंभ की शुरुआत होने वाली हैै। कुंभ को लेकर उत्तराखंड की त्रिवेंद्र सिंह रावत (Trivendra Singh Rawat) सरकार लंबे समय से तैयारी कर रही है। इस बीच कुंभ (Kumbh 2021) का लोगो जारी कर दिया गया है। रविवार यानी 28 फरवरी को जारी किए गए लोगो में सुंदर और स्वच्छ कुंभ के साथ सुरक्षित कुंभ को भी स्लोगन में स्थान दिया गया।

5 डिजाइन में से एक को किया गया सिलेक्ट।
लोगो की बात करें, तो उसमें गंगा की लहरों में स्वस्तिक चिन्ह बने कलश से अमृत की बूंदे छलकती दिख रही हैं। मेलाधिकारी दीपक रावत ने बताया कि कुंभ प्राधिकरण ने पहले आम लोगों से डिजाइन मांगे थे। लेकिन वे पसंद नहीं आए। इसके बाद डिजाइनर्स को लोगो बनाने का काम सौंपा गया। 4 से 5 लोगो बनवाए गए और उसे कमेटी के पास भेजा गया। लोगो को पास करने वाली कमेटी में सीएम रावत समेत अखाड़ा परिषद के संत शामिल थे।

सुरक्षा पर विशेष ध्यान।
एक ओर जहां कुंभ शुरू हो रहा है, वहीं दूसरी ओर देश के अन्य राज्यों में कोरोना वायरस के केस बढ़ रहे हैं। ऐसे में ना सिर्फ स्लोगन में सुरक्षा को एंट्री दी गई है, बल्कि कुंभ में भी लोगों की सुरक्षा का विशेष ख्याल रखा जा रहा है। आने वाल लोगों का टेस्ट कराया जा रहा है। साथ में मास्क और सोशल डिस्टेंसिंग की भी व्यवस्था की गई है। इसके अलावा 4 महीने के कुंभ को घटा कर 28 दिन कर दिया गया है।

मात्र 44 दिन में जमा हुए 2100 करोड़, अब रामकाज के लिए चलाए जा रहे निधि समर्पण अभियान हुआ बंद।

अयोध्या: देश भर में राम मंदिर निर्माण के लिए चला निधि समर्पण अभियान 27 फरवरी को समाप्त हो गयाा। इस अभियान के जरिए लोगों ने दिल खोल कर दान किया। राम तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के मुताबिक समर्पण निधि अभियान के तहत अभी तक 2100 करोड़ से ज्यादा की राशि जमा हो चुकी हैै। हालांकि, बैंकों में चेक का अभी तक कोई आंकड़ा क्लियर नहीं है। ट्रस्ट के चार्टर्ड अकाउंटेंट सही आंकड़ों के लेखा-जोखा में लगे हुए हैंं। फिलहाल सही आंकड़ा आने में अभी वक्त हैै। हालांकि, जिन लोगों ने अभी तक दान नहीं किया है वो परेशान ना हों, क्योंकि अभियान खत्म होने के बाद भी आप राम मंदिर निर्माण में अपना सहयोग दे सकते हैं।

मायूस ना हों, अभी भी ऐसे कर सकते हैं दान।
राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के ट्रस्टी डॉ अनिल मिश्र के मुताबिक निधि समर्पण अभियान खत्म होने के बाद कूपन के जरिए कोई भी सहयोग राशि नहीं ली जाएगी। ना ही कोई कार्यकर्ता राम मंदिर निर्माण के लिए कूपन लेकर किसी के घर जाएगा। हालांकि, जो लोग इस अभियान के दौरान सहयोग नहीं दे पाए हैं, वो आगे भी दान दे सकते हैं। अनिल मिश्र ने बताया कि जो लोग राम मंदिर निर्माण में अपना सहयोग देना चाहेंगे, वो राम जन्म भूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट द्वारा जारी भारतीय स्टेट बैंक, बैंक ऑफ बड़ौदा और पंजाब नेशनल बैंक के अकाउंट नंबर में राशि दान कर सकते हैं। बैंक खातों में दान की प्रक्रिया जारी रहेगी।

15 जनवरी से शुरू हुआ था अभियान।
आपको बता दें कि निधि समर्पण अभियान कार्यक्रम मकर संक्रांति यानी 15 जनवरी से राम मंदिर निर्माण के लिए विश्व हिंदू परिषद और उनके संगठनों के द्वारा शुरू हुआ था, जो 27 फरवरी को खत्म हो गया। इस अभियान के जरिए पूरे देश में कार्यकर्ता "डोर टू डोर" जाकर चेक और कूपन के माध्यम से समर्पण निधि प्राप्त किया। समर्पण निधि राशि राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के भारतीय स्टेट बैंक, पंजाब नेशनल बैंक और बैंक ऑफ बड़ौदा के अकाउंट में जमा की गई। पूरे देश में इन बैंकों की शाखाओं में लोगों ने दिल खोल कर दान किया। जिसका नतीजा यह है कि अभी तक रामलला के अकाउंट में 21 सौ करोड़ रुपये से ज्यादा का दान आ चुका है।

मैं तो इंसानियत से मजबूर था तुम्हे बीच मे नही डुबोया" मगर तुमने मुझे क्यों काट लिया!

नदी में बाढ़ आती है छोटे से टापू में पानी भर जाता है वहां रहने वाला सीधा साधा1चूहा कछुवे  से कहता है मित्र  "क्या तुम मुझे नदी पार करा ...